हेपेटाइटिस में जागरूकता ही सबसे बड़ी दवा – डाॅ. सुनील राठौर

ग्वालियर –VISM ग्रुप ऑफ स्ट्डीज़ के अंतर्गत संचालित जय इंस्टीटयूट ऑफ नर्सिंग एण्ड रिसर्च (नर्सिंग) महाविद्यालय में आज विश्व हेपेटाइटिस दिवस पर जागरूकता कार्यक्रम आयोजित किया गया। कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य हेपेटाइटिस के बारे में जागरूकता फैलाना था। इसके साथ ही समय पर पहचान और उपचार को प्रोत्साहित करना भी इसका लक्ष्य था। दिन भर चले इस कार्यक्रम में कई गतिविधियों का आयोजन किया गया। जिसमें पोस्टर प्रजेन्टेशन प्रतियोगिता एवं भाषण प्रतियोगिता आयोजित की गई।
पोस्टर प्रजेन्टेशन में प्रथम स्थान पर छात्रा कोमल बीएससी. नर्सिंग द्वितीय वर्ष एवं द्वितीय स्थान पर खुशबु पाल जीएनएम. द्वितीय वर्ष व अंतिमा खाण्डे एवं निशा कुमारी जी.एन.एम. द्वितीय वर्ष तृृतीय स्थान पर रहीं। तो वही भाषण प्रतियोगिता में शैलेन्द्र परमार जी.एन.एम. द्वितीय वर्ष प्रथम स्थान पर तो वही द्वितीय स्थान पर योगेश धाकड़ बी.एस.सी. नर्सिंग द्वितीय वर्ष एवं साक्षी राजपूत बी.एस.सी. नर्सिंग चतुर्थ वर्ष तृृतीय स्थान पर रहीं। पोस्टर प्रतियोगिता में प्रतिभागियों ने रचनात्मक रूप से हेपेटाइटिस से संबंधित संदेश प्रस्तुत किए।
भाषण प्रतियोगिता के माध्यम से प्रतिभागियों के ज्ञान को परखा गया और नई जानकारी साझा की गई। तत्पश्चात् विद्यार्थियों के लिये एक सेमिनार का आयोजन भी किया गया जिसमें वक्ता के रूप में व्हीआईएसएम हाॅस्पिटल की वरिष्ठ चिकित्सक डाॅ. मामसी धाकरे, एमडी मेडिसन उपस्थित रहीं। उन्होंने छात्र-छात्राओं को बताया कि हेपेटाइटिस के बचाव के प्रयोग हमें ज्यादा करना चाहिए जितना ज्यादा जाँचें होगी उतना ही ज्यादा हम हेपेटाइटिस मरीजों को ईलाज उपलब्ध करा सकते है। हेपेटाइटिस से होने बाली बीमारी दर और मृत्यु दर को कम कर सकते है। और कही न कही इस वर्ष की थीम भी इसी पर कार्य करने की ओर इशारा करती है। इसके पश्चात् संस्थान के चेयरमैन डाॅ. सुनील राठौर ने शीघ्र जांच और उपचार की आवश्यकता पर बल दिया। उन्होंने बताया कि हेपेटाइटिस लिवर को गंभीर रूप से प्रभावित करने वाली बीमारी है। इससे बचाव के लिए जागरूकता ही सबसे बड़ी दवा है। मरीज को शुरूआती दोर में ही अच्छे चकित्सक से सलाह एवं जरूरती ईलाज भी लेना चाहिए। अंत में सभी विजेताओं को प्रमाण पत्र प्रदान किये गए। इस मौके पर ग्रुप निदेशक डाॅ. प्रज्ञा सिंह सहित समस्त नर्सिंग स्टा्फ व छात्र-छात्राऐं मौजूद रहें ।