ग्वालियर-आगरा हाईस्पीड कॉरिडोर, 66 गांवों की जमीन का होगा अधिग्रहण

ग्वालियर. ग्वालियर से उत्तरप्रदेश के आगरा तक प्रस्तावित हाईस्पीड कॉरिडोर के लिए 66 गांवों की जमीन का अधिग्रहण किया जाएगा। 66 गांवों की करीब 550 हेक्टेयर जमीन इस कॉरिडोर को बनाने के लिए ली जाएगी। इस कॉरिडोर के बनने के बाद ग्वालियर और आगरा के बीच की दूरी करीब 32 किमी. तक कम हो जाएगी और दोनों शहरों के बीच सफर करने में एक घंटे के समय की भी बचत होगी।
66 गांवों की जमीन का होगा अधिग्रहण
ग्वालियर-आगरा हाईस्पीड कॉरिडोर मध्यप्रदेश और उत्तर प्रदेश के कुल 66 गांवों से होकर गुजरेगा और इसके लिए इन 66 गांवों की जमीन का अधिग्रहण किया जाएगा। कॉरिडोर की शुरुआत ग्वालियर-मुरैना के बॉर्डर पर स्थित सुसेरा गांव में रायरू-झांसी बायपास से होगी। यहां से कॉरिडोर शनि मंदिर रोड के गांव उराहना, पिपरसेवा से होते हुए मुरैना एवं धौलपुर के बक्सपुरा से होकर आगरा देवरी गांव तक जाएगा। कॉरिडोर के लिए ग्वालियर के एक, मुरैना के 32, धौलपुर के 18 और आगरा के 15 गांवों में जमीन का अधिग्रहण किया जाएगा।
कॉरिडोर के लिए अडानी सहित 10 कंपनियों ने लगाई बोली
आगरा-ग्वालियर कॉरिडोर के लिए अडानी एंटरप्राइजेज समेत 10 कंपनियों ने बोली लगाई है। इनमें इंफ्रास्ट्रकर डेवलपर्स, पीएनसी इंफ्राटेक, दिलीप बिल्डकॉन, डीआर अग्रवाल इंफ्राकॉन, जीआर इंफ्राप्रोजेक्ट्स, एमकेसी इफ्रास्ट्रकर, वेलस्पन एंटरप्राइजेज और गावर इंफ्रा शामिल हैं। कॉरिडोर के लिए टेक्निकल बिड्स को मंगलवार को खोला गया था । 88 किमी. लंबा आगरा-ग्वालियर कॉरिडोर पूरी तरह से एक्सेस-कंट्रोल्ड होगा।