150 IPS ने कैसा काम किया जांचेगी समिति, चुनावी कालेधन में फंसे 3 अफसरों का भी ट्रैक रिकॉर्ड देखेंगे

भोपाल. मध्यप्रदेश कैडर के 150 से अधिक आईपीएस अफसरों के कामकाज का आंकलन करने वाली छानबीन समिति की बैठक शुक्रवार को मंत्रालय में होगी। जिन अफसरों ने सर्विस के 15 साल पूरे कर लिए हैं, समिति उनका ट्रैक रिकॉर्ड चेक करेगी। इसके साथ ही जिन अफसरों ने 25 साल की सर्विस पूरी कर ली है और उनकी उम्र 50 साल से ज्यादा हो गई है, इनका भी रिकॉर्ड चेक किया जाएगा।

पुलिस मुख्यालयों के सूत्रों का कहना है कि इस फॉर्मूले के हिसाब से 3 सीनियर आईपीएस अफसरों बी मधुकुमार, सुशोभन बनर्जी और संजय माने के ट्रैक रिकॉर्ड की जांच भी होगी। ये अफसर लोकसभा चुनाव में कालेधन का उपयोग मामले में फंसे हैं। इस मामले में केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड की जांच के आधार पर ईओडब्ल्यू ने मुकदमा दर्ज किया था। तीनों अफसरों को सरकार पहले ही निलंबित कर चुकी है। हालांकि राज्य शासन ने अभी तक तीनों अफसरों को आरोप पत्र जारी नहीं किया है। इससे पहले ही तीनों ने सरकार की तरफ से हुए एक्शन को कोर्ट में चुनौती दी थी।

केंद्र सरकार ने इसके लिए (15:25:50) फॉर्मूला लागू किया है। इसके लिए मुख्य सचिव की अध्यक्षता में छानबीन समिति बनाई गई है। समिति में डीजीपी विवेक जौहरी, अपर मुख्य सचिव गृह डॉ. राजेश राजौरा, अपर मुख्य सचिव महिला बाल विकास अशोक शाह और छत्तीसगढ़ के डीजी प्रबंधन आरके विज सदस्य हैं। यह समिति सिफारिश केंद्रीय कार्मिक और प्रशिक्षण विभाग को भेजेगी।

इधर, मंत्रालय सूत्रों का कहना है कि 15 साल की सेवा वाले करीब 20 अफसरों के कामकाज का आंकलन किया जाएगा, जबकि ऐसे 130 आईपीएस अफसर हैं, जो 25 साल की सर्विस पूरी कर चुके हैं और उनकी उम्र भी 50 साल से ज्यादा है। इन अफसरों के कामकाज की रिपोर्ट केंद्र सरकार को भेजी जाएगी।