कार्ल्सबर्ग इंडिया ने भारतीय अधिकारियों को खिलाई घूस! डेनमार्क के अखबार का दावा

नमार्क की बीयर उत्पादक कंपनी कार्ल्सबर्ग की भारतीय सब्सिडियरी पर अपना काम निकालने के लिए भारतीय अधिकारियों को घूस खिलाने का आरोप है. डेनमार्क के अखबार बर्लिंग्सके में छपी एक रिपोर्ट में यह दावा किया गया है. खबर के मुताबिक कंपनी ने 18 महीने के दौरान आबकारी, नियमन, ब्रुअरी के परमिट से जुड़े अधिकारियों से काम निकालने के लिए घूस दिए हैं. हालांकि कार्ल्सबर्ग ने इन आरोपों का खंडन किया है और कहा है कि भारतीय कामकाज की ऑडिट की जा रही है.

कंपनी ने कहा है कि उसने इन आरोपों के सामने आने के बाद भारतीय सब्सिडियरी में गहन ऑडिट शुरू की है. आरोपों के मुताबिक अधिकारियों को घूस इसलिए दिए गए ताकि नियामक प्रक्रिया तेजी से पूरी हो और कंपनी को मैन्युफैक्चरिंग में आसानी हो. बर्लिंग्सके की खबर के अनुसार साल 2015 से 2016 के बीच अफसरों को 200 से ज्यादा भुगतान किए गए. यही नहीं, कार्ल्सबर्ग के बोर्ड में शामिल इस व्यक्ति ने इस भुगतान को हरी झंडी भी दिखाई. अखबार ने कहा कि कंपनी के कई सूत्रों ने इस खबर की पुष्ट‍ि की है.

कार्ल्सबर्ग (Carlsberg) एशिया के कॉरपोरेट मामलों के डायरेक्टर स्टीव डेंग ने हमारे सहयोगी प्रकाशन बिजनेस टुडे को बताया यह मामला साल 2017 में ही कंपनी के सामने आ चुका है. लेकिन यह दावा एक ऐसे कर्मचारी ने किया है जिसे बर्खास्त किया जा चुका है और उसका कहना है कि उसे गलत तरीके से बर्खास्त किया गया. उस कर्मचारी ने कंपनी ने 20 लाख डॉलर की मांग की थी और धमकी दी थी कि अगर उसे पैसे नहीं दिए गए तो वह मीडिया में चला जाएगा.