Cryptocurrency: क्रिप्‍टो ट्रेडिंग की कुछ लोगों को अनुमति दे सकती है सरकार! यहां छिपा हुआ है इसका हिंट

नई दिल्ली. भारत सरकार की ओर से क्रिप्टोकरेंसी पर लाए जाने वाले बिल (Cryptocurrency bill) की खबर आने के बाद लगभग हर घंटे कोई नई जानकारी निकलकर बाहर आ रही है. अब नई सूचना ये है कि छोटे निवेशकों की सुरक्षा के मद्देनजर सरकार क्रिप्टोकरेंसी को वित्तीय परिसंपत्ति (Cryptocurrencies as a financial asset) के रूप में माने जाने के प्रस्ताव पर विचार कर रही है. इसके अवाला संभव है कि डिजिटल करेंसी में एक सीमा तक ही निवेश का विकल्प दिया जाए और इसे लीगल टेंडर के तौर पर बैन कर दिया जाए.

सूत्रों के मुताबिक, इस पर अभी तक कोई अंतिम फैसला नहीं लिया गया है. बताया जा रहा है कि बिल को प्रारूप देने की प्रक्रिया के दौरान अथॉरिटीज में इस तरह का विचार-विमर्श चल रहा है. मोदी सरकार शीतकालीन सत्र (Winter Session) में क्रिप्टोकरेंसी (Cryptocurrency) को विनियमित करने के लिए एक विधेयक संसद में पेश करने वाली है, जिसका नाम ‘द क्रिप्टोकरेंसी एंड रेगुलेनशन ऑफ ऑफिशियल डिजिटल करेंसी बिल 2021’ (The Cryptocurrency and Regulation of Official Digital Currency Bill, 2021) है.

यहां छिपा है इसका मेन हिंट

पॉलिसी मेकर्स ने मंगलवार को संसद की वेबसाइट पर इस बिल का ब्यौरा डाला तो उन्होंने अपने लिए वह जगह जरूर रखी कि बाद में इसमें बदलाव किया जा सके. लिखा गया था कि ये बिल सभी प्राइवेट क्रिप्टोकरेंसीज़ को निषेध (Ban) करेगा सिवाय ‘क्रिप्टोकरेंसी की अंडरलाइंग टेक्नोलॉजी और इसके उपयोग के कुछ अपवादों को छोड़कर’. इसे अंग्रेजी में इस तरह लिखा गया था – certain exceptions to promote the underlying technology of cryptocurrency and its uses.

अनिश्चितताओं के बीच में बुधवार को शिबा इनू (Shiba Inu) और डॉगकॉइन (Dogecoin) पर भारी दबाव देखा गया. क्रिप्टो ट्रेडिंग प्लेटफार्म वज़ीरएक्स (WazirX) पर ये दोनों कॉइन 20 प्रतिशत से ज्यादा टूट (Cryptocurrency Price) गए. हालांकि दूसरे प्लेटफार्म्स जैसे कि बिनांस (Binance) या क्राकेन (Kraken) पर ये WazirX जितने नहीं गिरे थे.

RBI लगाना चाहता है पूरी तरह बैन

रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) डिजिटल करेंसीज़ पर पूरी तरह से बैन लगाना चाहता है, क्योंकि उसे लगता है कि इससे देश की मैक्रो-इकोनॉमी और फाइनेंशियल स्थिरता पर असर पड़ सकता है. वहीं, सरकार आने वाले बजट में क्रिप्टोकरेंसीज़ पर टैक्स लगाने के बारे में सोच रही थी. RBI के गवर्नर शक्तिकांत दास ने पिछले सप्ताह ही कहा है कि भारत को इस मुद्दे पर ज्यादा गहराई से विचार करना होगा.

बिल पर प्रधानमंत्री कार्यालय की सक्रिय नज़र

सूत्रों ने बताया कि फिलहाल प्रधानमंत्री कार्यालय इस मुद्दे पर सक्रियता से नज़र रख रहा है और जैसे ही इस बिल का कंटेंट फाइनल हो जाएगा इसे कैबिनेट में अप्रूवल के लिए रखा जाएगा. इसी महीने की शुरुआत में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने क्रिप्टोकरेंसी के मुद्दे पर एक मीटिंग रखी थी. इस मीटिंग के बाद अधिकारियों ने कहा था कि भारत अनियंत्रित (अनरेगुलेटेड) क्रिप्टो मार्केट को देश में मनी लॉड्रिंग (Money laundering) और टेरर फाइनेंसिंग (Terror financing) का हथियार नहीं बनने देगा. उसी सप्ताह बाद में उन्होंने लोकतांत्रिक देशों से प्राइवेट वर्चुअल करेंसीज़ को गलत हाथों में न पहुंचने देने की अपली की और कहा कि सबको इसमें कॉ-ओपरेट करना चाहिए.