विद्युत कर्मचारियों ने निजीकरण के विरोध में पीएम नरेन्द्र मोदी के नाम ज्ञापन सौंपा

ग्वालियर. मप्र विद्युतीकरण विरोधी संयुक्त मोर्चा के आव्हान पर मप्र के सभी विद्युत संगठन और कर्मचारियों ने कलेक्ट्रैट पर पहुंच कर निजीकरण के विरोध में प्रदर्शन करते हुए अपनी सभी मांगों को लेकर केन्द्र सरकार के विरोध में प्रदर्शन करते हुए नारे लगायें। कलेक्ट्रैट पर प्रदर्शन करते हुए पीएम नरेन्द्र मोदी के नाम एसडीएम प्रदीप तोमर को सौंपा।

क्या है पूरा मामला

म्प्र की सभी विद्युत संगठनों द्वारा 1 अक्टूबर को बैठक कर केन्द्र सरकार द्वारा सभी राज्यों की विद्युत वितरण कंपनियों के निजीकरण करने डॉक्यूमेंट जारी कर सभी वितरण कंपनियों के निजीकरण करने की योजना का विरोध करने के लिये ‘‘मप्र विद्युत निजीकरण विरोधी संयुक्त मोर्चा’’ का गठन किया गया है।

मप्र विद्युत क्षेत्र के कर्मचारी और अधिकारी संगठनों द्वारा विद्युत कंपनियों के निजीकरण का निर्णय किसी भी प्रकार से देशके विद्युत क्षेत्र एवं उपभोक्ताओं में समग्र हित में नहीं है एवं संयुक्त मोर्चा द्वारा इस प्रस्ताव का सख्त विरोध करने का निर्णय किया गया हैं।

पूरे मध्यप्रदेश में निजीकरण का विरोध

कर्मचारी नेता विनोद कटारे ने बताया कि विद्युत निजीकरण के विरोध में पूरे मप्र के कलेक्टरों को तय पर पर प्रदर्शन कर ज्ञापन सौंपा गया है। एक सूत्रीय मांग रखते हुए देश के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नाम ज्ञापन सौंपते हुए वितरण कंपनियों के निजीकरण में रोक लगाने की मांग की हैं।

उत्तरप्रदेश में निजीकरण का विरोध में समर्थन

विद्युत संगठन के नेता एल के दुबे ने बताया कि पूरे उत्तर प्रदेश में विद्युत निजीकरण के विरोध में औद्योगिक ईकाईयां पूरी तरह से बंद है और हम उत्तरप्रदेश में हो रहे निजीकरण का विरोध करते हुए यूपी विद्युत कर्मचारियों की मांग का समर्थन करते हैं।