71 में अटल जी ने इंदिरा को दुर्गा कहा था, सबूत नहीं मांगे थे- जावड़ेकर

आजतक सुरक्षा सभा के तीसरे सेशन में केन्द्रीय मंत्री प्रकाश जावड़ेकर और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता मनीष तिवारी ने अपने विचार रखे. इस सेशन के दौरान चर्चा का मुद्दा था 'शौर्य पर सियासत' यानी बालाकोट पर एयरफोर्स की कार्रवाई के बाद इस मुद्दे पर की जा रही सियासत. कार्यक्रम में बालाकोट स्ट्राइक के मुद्दे पर हो रही सियासत पर गरमा-गरम बहस हुई. पूर्व केंद्रीय मंत्री और कांग्रेस नेता मनीष तिवारी ने कहा कि राष्ट्रीय सुरक्षा पर किसी से सर्टिफिकेट की जरूरत नहीं है, पाकिस्तान को अगर सबसे बड़ी चोट किसी ने पहुंचाई थी तो उस दौरान देश में कांग्रेस की सरकार थी. पाकिस्तान को आधा कर दो हिस्सों में बांट दिया गया था.

कांग्रेस नेता ने कहा कि 1971 से 2019 तक कांग्रेस राष्ट्रीय सुरक्षा पर कटिबद्ध रही. लेकिन कांग्रेस ने उसका राजनीतिकरण नहीं किया. सर्जिकल स्ट्राइक पहली बार नहीं हुआ. 1998 से लगातार स्ट्राइक होते रहे हैं.

कांग्रेस नेता के आरोपों का जवाब देते हुए केंद्रीय मानव संसाधन मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने कहा कि 1971 में जब बांग्लादेश का निर्माण हुआ तब अटल जी ने तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी को दुर्गा कहा था और सबूत नहीं मांगे थे. आप तुरंत चुनाव में गए थे जो 1972 में होने वाला था.

जावड़ेकर ने कहा, "यही मूल फर्क है. ये हमें समझना चाहिए. आप सबूत पूछ रहे हैं. पहले सर्जिकल स्ट्राइक का पूछा...लोगों ने दिखाया कि कैसे टारगेट पर छेद हुआ था, अंदर कितना बड़ा धमाका हुआ. बिल्डिंग वैसी ही बनी रही, लेकिन अंदर का सारा विनाश हो गया. सेना के पराक्रम पर गौरव करने के बजाय सबूत मांगा जा रहा है."