ऑस्ट्रेलिया के PM बोले- चाहे कुछ भी कर ले चीन, हम उससे डरने वाले नहीं

 ऑस्ट्रेलिया के कोरोना वायरस महामारी की जांच की मांग करने के बाद से चीन उसके खिलाफ व्यापार को हथियार बनाने की कोशिश कर रहा है. ऑस्ट्रेलिया के प्रधानमंत्री स्कॉट मैरिसन ने गुरुवार को कहा है कि वह चीन की धमकियों से डरने वाले नहीं हैं.

ऑस्ट्रेलिया के PM बोले- चाहे कुछ भी कर ले चीन, हम उससे डरने वाले नहीं

ऑस्ट्रेलियाई प्रधानमंत्री स्कॉट मैरिसन से गुरुवार को सवाल किया गया था कि क्या वह अपने अहम व्यापारिक साझेदार चीन से निर्यात को मिल रही चोट को सहते रहेंगे. चीन ने पिछले दो महीनों में ऑस्ट्रेलिया को आर्थिक चोट पहुंचाने वाले कई कदम उठाए हैं.

अमेरिका और यूरोपीय देशों के साथ-साथ, ऑस्ट्रेलिया भी उन देशों में शामिल हो गया था जिसने कोरोना वायरस के पूरी दुनिया में फैलने की अंतरराष्ट्रीय जांच की मांग की थी. ऑस्ट्रेलिया और यूरोपीय यूनियन की लामबंदी के बाद, पिछले महीने विश्व स्वास्थ्य संगठन की सालाना बैठक में महामारी की जांच के पक्ष में मतदान भी हुआ था. ऑस्ट्रेलिया के इस कदम से चीन नाराज हो गया और तब से वह ऑस्ट्रेलिया को लगातार धमकियां देकर परेशान करने की कोशिश कर रहा है.

चीन के शिक्षा मंत्रालय ने मंगलवार को कहा कि ऑस्ट्रेलिया में पढ़ाई करने जा रहे छात्रों को एक बार फिर से अपने फैसले पर विचार करना चाहिए. ऑस्ट्रेलिया का इंटरनेशनल एजुकेशन सिस्टम उसका चौथा सबसे बड़ा निर्यात है. विदेशी छात्रों से ऑस्ट्रेलिया की सालाना 26 अरब डॉलर की कमाई होती है. चीन की धमकी से ऑस्ट्रेलिया को शिक्षा क्षेत्र से हो रही कमाई में भी नुकसान उठाना पड़ सकता है.

ऑस्ट्रेलियाई प्रधानमंत्री मॉरिसन ने रेडियो स्टेशन 2GB से बातचीत में कहा, ऑस्ट्रेलिया खुले बाजार का समर्थन करता है लेकिन चाहे धमकी कहीं से भी आए, हम इसके जवाब में कभी भी अपने मूल्यों का सौदा नहीं करेंगे.

चीन ने हाल ही में ऑस्ट्रेलिया से बीफ के आयात पर बैन लगा दिया था और वहां से आने वाले जौ पर भारी-भरकम टैरिफ लगा दिया था. पिछले सप्ताह, चीन ने अपने पर्यटकों को भी चेतावनी जारी की थी और कहा था कि वे ऑस्ट्रेलिया जाने से बचें. चीन के अधिकारियों ने चेतावनी जारी करने के पीछे दलील दी है कि महामारी के दौरान ऑस्ट्रेलिया में एशियाई लोगों के खिलाफ नस्ली हमले बढ़ गए हैं.

मॉरिसन ने 3AW को दिए इंटरव्यू में कहा, ये बिल्कुल बकवास है. ये बहुत ही हास्यास्पद बात है और हम इसे खारिज करते हैं. छात्रों और पर्यटकों को लेकर जारी की गई चेतावनी को लेकर ऑस्ट्रेलिया ने चीन के विदेश मंत्रालय और कैनबरा स्थित चीनी दूतावास से विरोध दर्ज कराया है. ऑस्ट्रेलिया ने कहा है कि पर्यटकों और छात्रों के लिए उनका देश पूरी तरह से सुरक्षित है.

मॉरिसन ने ऑस्ट्रेलियाई चैनल 2GB से बातचीत में कहा, ऑस्ट्रेलिया दुनिया में सबसे बेहतरीन शिक्षा और पर्यटन के मौके उपलब्ध कराता है. चीनी नागरिकों के ऑस्ट्रेलिया को चुनना पूरी तरह से उनका फैसला रहा है. मुझे अपने देश की शिक्षा और पर्यटन क्षेत्र की उत्कृष्टता को लेकर पूरा भरोसा है.